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पड़ोस में आई बाहरी लड़की की चूत चुदाई

इंडियन सेक्सी गर्ल चुदाई कहानी में मैंने अपने पड़ोस में आई मेहमान लड़की को पटा कर चोदा. वो बहुत ही खूबसूरत माल थी. मैंने उसे अपने पड़ोसी के घर जाकर चोदा.

मेरे प्यारे दोस्तों को मेरा नमस्कार.

मैं अपनी सेक्स कहानी पहली बार लिखने जा रहा हूँ, ये मेरी सच्ची कहानी है.
आज मैं आपको इंडियन सेक्सी गर्ल चुदाई कहानी में बताऊंगा कि मैंने पहली बार चूत चोदने का सुख कैसे भोगा.

मेरा नाम सोनू (परिवर्तित) है. मैं दिखने में स्मार्ट अच्छा दिखता हूँ. मेरा कद पांच फुट सात इंच का है और रंग गेहुंआ है.

बात तब की है, जब मैंने कॉलेज जाना शुरू किया था.
मुझे सेक्स करने का बहुत मन करता था, पर उस वक्त तक मैं अकेला था तो मुझे हाथ से ही काम चलाना पड़ता था.

कुछ ही दिन बाद मेरे पड़ोस में एक लड़की आई. वो अपने रिश्तेदार के यहां रहने कुछ दिन के लिए आई थी.

मैंने उसे देखा, तो देखता ही रह गया. क्या गजब का फिगर था.
चुस्त सूट के ऊपर से ही उसके निप्पलों के उभार साफ़ दिख रहे थे. गजब की उठी हुई गांड थी और वो बहुत ही खूबसूरत माल थी.

उसको देख कर किसी बूढ़े का भी लंड खड़ा हो जाए, ऐसी आइटम थी वो!
तो मैं तो अभी जवान हुआ ही था.

मैंने मन बना लिया था कि इसकी चूत को जरूर चोदना है.

अब मैं उसको ताड़ने लगा.
एक हफ्ता ऐसे ही उसे देखने में चला गया.

एक दिन उसकी नजरें मेरी नजरों से टकरा गईं और उस दिन से उसने भी मुझे देखना शुरू कर दिया.

हमारी नजरें मिलना शुरू हुई ही थीं कि उसने मुझे देख कर हंसना शुरू कर दिया.
मैं समझ गया कि अब तो इसकी चूत का सुख पक्का मिल जाएगा.

हम दोनों छत पर टहल कर एक दूसरे को देखने लगे थे.
वो कभी कभी मुझे देख कर मुस्कुरा देती थी.
मगर मैं गंडफट था तो कुछ कह ही नहीं पा रहा था.

ऐसे ही कुछ दिन और निकल गए.
मुझे अभी भी रोज रात को हाथ से काम चलाना पड़ रहा था.

एक दिन मैं कॉलेज से आया तो पता चला कि वो लड़की वापिस अपने घर चली गई.
मुझे बहुत अफसोस हुआ.

मेरे खड़े लंड पर धोखा हो गया था. मुझे चूत मिलते मिलते रह गई थी.
मैं अपने आप पर ही गुस्सा था कि मैं उससे कुछ कह ही नहीं सका.

रोज रात की तरह उस दिन भी मैंने उसके चूचे याद करके मुठ मारी और सो गया.
तीन दिन बाद जब मैं कॉलेज से घर आया, तो देखा कि वो छत पर टहल रही थी.

दोस्तो, बता नहीं सकता मैं इतना ज्यादा खुश हुआ कि क्या कहूँ.
मुझे लगा कि वो मेरे लिए ही वापस आई है.

अब मैंने ज्यादा देर न लगाते हुए उसे इशारे से मोबाइल नम्बर के लिए कहा.
उसने तुरंत कागज पर अपना नंबर लिख कर मेरी तरफ फेंक दिया.

कुछ देर बाद मैंने उसे कॉल किया और उससे बात की तो उसने अपना नाम सपना (परिवर्तित) बताया.
कुछ देर बात होती रही.

मैंने उससे पूछा- कहीं चली गई थीं क्या?
वो हंस दी और बोली- हां.

मैंने कहा- कहां?
उसने बताया कि उसकी बड़ी बहन पास में ही रहती है, मैं वहीं चली गई थी.

मैंने आगे पूछा- तुम हंसी क्यों?
वो बोली- कुछ नहीं, बस यूं ही!

मैंने कहा- बताओ न!
वो बोली- तुम मुझसे कुछ बोले ही नहीं थे ना, इसलिए मैं चली गई थी. फिर जब तुमने मुझसे पूछा कि कहां चली गई थीं, तो मुझे हंसी आ गई थी.

मैंने कहा- हां, तुम मुझे तीन दिन दिखी नहीं थीं, तो मैंने पूछा था.
वो इठला कर बोली- अगर मैं दिखती रहती, तो शायद न पूछते?

मैंने कहा- मैं बस तुमसे बात करने ही वाला था.
वो मेरी लेने लगी थी इसलिए बोली- अच्छा, बात करने ही वाले थे?

मैं उसकी इस कटाक्ष भरी बात पर समझ गया था कि ये मेरे भोलेपन का मजा ले रही है.

मैंने कहा- हां, बात भी करने वाला था और …
वो बोली- और … और क्या?

मैंने कहा- मैं तुम्हें चाहने लगा हूँ, ये कहने वाला था.
वो खुश हो गई और उसने भी मुझसे अपने दिल की बात कह दी.

इसके बाद और भी कुछ बात हुई.
कुछ देर बाद फोन रख दिया.

मैं खाना खाने चला गया.
रात में उसका फोन आया. हमारी बहुत देर तक यहां-वहां की बात होती रही.

फिर धीरे धीरे हम दोनों सेक्स की बातें करने लगे.
मैंने उसे सेक्स के लिए बोला.

पहले तो उसने कुछ नहीं कहा, फिर बाद में वो मान गई.
आखिर उसकी चूत भी तो मेरे लंड का इंतजार कर रही थी.

फिर हम दोनों ने देर रात में मिलने का प्लान बनाया.
रात गहराने में अभी कुछ समय था और मुझसे इंतजार नहीं हो रहा था.

बहरहाल वो वक्त आ गया जब मैं उससे मिलने वाला था.
मैंने उसे कॉल किया, तो उसने कुछ देर रुककर आने को कहा क्योंकि तब तक उसके चाचा चाची सोये नहीं थे.

उसने अपने चाचा चाची के सोते ही मुझे कॉल किया.
वो फुसफुसा कर बोली- आ जाओ.
ये सुनते ही मेरा लौड़ा खड़ा हो गया कि लौंडिया चुदने के लिए तैयार है.

मैं उसके घर के अन्दर जाने लगा.
जैसे ही दरवाजा खोलकर देखा तो वो सामने ही खड़ी थी.
मैंने झट से उसे पकड़ कर बांहों में ले लिया और उसको किस करने लगा. पागलों की तरह उस चूमने लगा.

वो भी मेरा साथ देने लगी.
आग तो दोनों ही जगह बराबर की लगी थी.

फिर मैंने उसका कमीज उतारा और ब्रा के ऊपर से ही दूध को चूसने लगा, काटने लगा.
उसको दर्द हो रहा था, पर मजा भी आ रहा था.

मैंने उसकी ब्रा अलग कर दी और उसके कड़क निप्पल को चूसने लगा.
उसके निप्पल को मैंने जैसे ही अपने होंठों में दबा कर खींचा, उसकी मादक आह निकल गई.

‘आंह आह … इस्स.’
मेरा एक हाथ उसकी दूसरी चूची को सहलाने लगा था, दूसरा हाथ उसकी चूत को मसल रहा था.

वो भी अपने हाथ से मेरे लंड को दबा रही थी.
मैंने उसकी सलवार उतार दी और पैंटी के ऊपर से ही चूत को मसलने लगा.

वो गर्मा गई, तो मैं नीचे बैठ गया और पैंटी के ऊपर से ही उसकी चूत को चाटने लगा.
वो पागलों की तरह मेरा सर चूत में दबाने लगी.

मैंने उसकी पैंटी निकाली, तो चूत से पानी निकल रहा था.
मैंने उसे जमीन में लिटाया और चूत में अपनी जीभ डाल दी.

उसके मुँह से कामुक आवाजें निकलने लगीं ‘उह उह उम् उम्म आह …’

मैंने खड़े होकर उससे लंड चूसने को कहा, वो झट से मान गई और खुद बैठ कर किसी भूखी रांड की तरह मेरा लंड चूसने लगी.

मुझे खड़े होकर उससे लंड चुसवाने में इतना ज्यादा मजा आ रहा था मानो मैं जन्नत की परी से लंड चुसवा रहा हूँ.
मेरा लंड एकदम टाईट हो गया था.

वो भी मेरे लंड की सख्ती देख कर चुदने को रेडी हो गई थी.
उसने इशारा करते हुए लंड को चूत में डालने को कहा.

मैंने उसे लिटा दिया और पोजीशन बना कर एकदम से चूत में लंड को पेल दिया.

वो चिल्लाने लगी और धीरे धीरे से करने को बोली.
फिर मैं धीरे धीरे लंड को आगे पीछे करने लगा और उसके मुँह से कामुक आवाजें निकलने लगीं.

उसकी कामुक आवाजें मेरी उत्तेजना को बढ़ा रही थीं.
फिर मैंने अपनी गति बढ़ाई और तेजी से इंडियन सेक्सी गर्ल चुदाई करने लगा.

पूरे कमरे में चुदाई का संगीत गूँजने लगा.
वो टांगें हवा में उठाए हुए चिल्ला रही थी- आह जोर से चोदो मेरी जान … आह फाड़ दो मेरी चूत … आह और जोर से!

मुझे बहुत मजा आ रहा था.
फिर हम दोनों झड़ गए.

मेरे लंड का लावा उसकी चूत में समा गया और मैं उसी के ऊपर लेट गया.
कुछ देर बाद हम दोनों ने कपड़े पहने और मैं अपने घर चला गया.

दूसरे दिन में कॉलेज चला गया.
सुबह उससे बात नहीं हो पाई.

शाम को जब मैं आया और मैंने उसे कॉल किया, तो उसने बताया कि आज वो अपने घर वापस जा रही है.

मुझे बहुत अजीब सा लगा क्योंकि आज मेरा फिर से उसको चोदने का मन था.

मैंने उससे पूछा- अब कब आओगी?
उसने बताया कि एक दो महीने बाद.

मैंने कहा- ओह शिट!
उसने कहा- क्यों क्या हो गया?

मैंने कहा- आज मैं तुम्हें फिर से चोदना चाहता था.
उसने हंस कर कहा- अब जो भी करना हो, वो मेरे घर आकर करना.

वो मेरे घर से चालीस किलोमीटर दूर रहती थी.
मैंने कहा- ठीक है.

वो बोली- अब घर जाकर बात करूंगी.
फिर वह चली गई.

रात को उससे थोड़ी सी बात हुई और मुझे फिर से अपने हाथ से काम चलाना पड़ा.
चार दिन बाद मैंने उसके घर जाने की बात उससे कही, तो उसने रात को आने को कहा.

मैं भी तैयार हो गया.
दूसरे दिन में शाम को छह बजे मैं उससे मिलने उसके घर के लिए निकला. मुझे कुछ अनजाना डर सा भी लग रहा था.

मैंने रास्ते में एक वाइन शॉप से बीयर की बोतल ली और उसे पीने लगा.
मेरे सर पर उसे चोदने का पागलपन सवार हो गया था.

मैं 7 बजे उसके गांव पहुंचा, तो ठंड भी लग रही थी.

मैंने उसे कॉल किया तो उसने घर का रास्ता बताया और दस बजे आने को कहा.
अभी एक घंटा बाकी था.

मैं फिर से एक वाइन शॉप पर गया और एक बियर की कैन लेकर पीने लगा.
अब दस बज गए थे.

उसका कॉल आया- मैं घर के बाहर खड़ी हूँ, आ जाओ.
मैं वहां से निकला और उसके घर पहुंच गया.

मैंने अपनी गाड़ी थोड़ा आगे की तरफ लगाई और अन्दर चला गया. उसके कमरे में गया ही था कि कोई आवाज आई.
मैं थोड़ा डर गया, पर वो गई और सब ठीक करके आ गई.

उसने अन्दर आकर दरवाजा बंद कर दिया.
फिर मैंने उसे अपनी बांहों में लिया और किस करने लगा.

मैंने उसके पूरे कपड़े उतारे और उसे चूमने लगा, उसके दूध पीने लगा और उसकी चूत को सहलाने लगा.
कुछ देर बाद उसकी चूत को पागलों की तरह चाटने लगा. वो भी मजा ले लेकर चूत चटवाने लगी.

फिर मेरे कपड़े उतार कर मेरा लंड चूसने लगी.
मुझे बहुत मजा आ रहा था.

मैंने उसे लेटने को कहा और उसकी टांगों के बीच में बैठ कर लंड को उसकी चूत में फेरने लगा.
वो बहुत बेचैन हो रही थी. उसके मुँह से बहुत मादक आवाज आ रही थी.

मैंने ज्यादा देर न लगाते ही लंड को चूत में पेल दिया और जोर से धक्का देना चालू कर दिया.
अब मैं उसके एक दूध को अपने मुँह में लेकर पी रहा था और निप्पल को काट रहा था.

उसे दूध चुसवाते हुए चुदवाने में बहुत मजा आ रहा था.
फिर मैंने अपनी गति बढ़ाई और जोर जोर से चोदने लगा.

पूरे कमरे में आह आह … उउ … उम उम्म और छप छप की आवाजें आ रही थीं.
दस मिनट बाद हम दोनों एक साथ झड़ गए.

मैंने उसे उस रात तीन बार चोदा.

फिर मैं चार बजे अपने घर निकल गया और सुबह पांच बजे घर आ गया.

दोस्तो, ये मेरे जीवन की पहली चुदाई थी, जो मैंने आपके सामने रखी है. इसमें जो भी लिखा है, सब सच है.

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